“अभिनव समाज का मानवीय अभियान: 370 से अधिक अस्थियों को दिला चुके हैं मोक्ष”
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संस्कृति, संवेदना और मोक्ष का संगम – अभिनव समाज का पुनीत प्रयास
संस्थापक जी.के. गुप्ता बोले – लावारिस आत्माओं की मुक्ति का यह अभियान निरंतर जारी रहेगा
हरिद्वार, शनिवार: दिल्ली की प्रतिष्ठित सामाजिक संस्था अभिनव समाज ने समाज सेवा की एक नई मिसाल पेश करते हुए 170 लावारिस व्यक्तियों की अस्थियों का विधिपूर्वक विसर्जन हरिद्वार के कनखल सती घाट पर मां गंगा में किया। यह धार्मिक अनुष्ठान संस्था के संस्थापक जी.के. गुप्ता के नेतृत्व में संपन्न हुआ, जिसमें संस्था के कई पदाधिकारी और स्वयंसेवक उपस्थित रहे।
संवेदनशीलता और श्रद्धा से संपन्न हुआ अस्थि विसर्जन
सती घाट पर आयोजित इस अनुष्ठान को पंडित विनय प्रधान ने विधिपूर्वक संपन्न कराया। ये अस्थियां दिल्ली के विभिन्न श्मशान घाटों से एकत्र की गई थीं, जिन्हें परिजनों द्वारा लावारिस छोड़ दिया गया था। अभिनव समाज के कार्यकर्ताओं ने पूरी श्रद्धा और सम्मान के साथ इन अस्थियों को मां गंगा की गोद में समर्पित किया, जिससे इन आत्माओं को शांति और मोक्ष प्राप्त हो सके।
तीसरी बार किया गया अस्थि विसर्जन अभियान
संस्था के संस्थापक जी.के. गुप्ता ने बताया कि दिल्ली के श्मशान घाटों पर बड़ी संख्या में लावारिस अस्थियां पड़ी रहती हैं। कई मामलों में पुलिस प्रशासन द्वारा अंतिम संस्कार कराया जाता है, तो कई बार परिजन स्वयं अस्थियों को वहीं छोड़ जाते हैं। इस समस्या को देखते हुए, अभिनव समाज ने इन लावारिस अस्थियों को सम्मानपूर्वक मां गंगा में विसर्जित करने का संकल्प लिया है।
अब तक संस्था ने तीन बार इस अभियान को सफलतापूर्वक संपन्न किया है और कुल 370 से अधिक लावारिस अस्थियों को गंगा में विसर्जित कर चुकी है।
मां गंगा के आशीर्वाद से यह सेवा जारी रहेगी
संस्था की कार्यक्रम समन्वयक ऊषा देवी ने कहा कि यह कार्य सनातन धर्म के संस्कारों के तहत किया जा रहा है।
“मां गंगा के आशीर्वाद से हमें यह पुण्य कार्य करने का अवसर मिला है। हम पूरी श्रद्धा और समर्पण के साथ लावारिस आत्माओं की मुक्ति सुनिश्चित करने का प्रयास कर रहे हैं।”
इस अवसर पर रिया सिंह, अनिल कुमार, धर्मेंद्र सहित कई स्वयंसेवक उपस्थित रहे।
अभिनव समाज: समाज सेवा की मिसाल
अभिनव समाज सिर्फ अस्थि विसर्जन ही नहीं, बल्कि कई सामाजिक कार्यों में भी सक्रिय रूप से योगदान दे रहा है। संस्था दिल्ली और एनसीआर में प्रतिदिन 1,000 से अधिक जरूरतमंद लोगों को भोजन उपलब्ध कराती है। इसके अलावा, संस्था बुजुर्गों के लिए ओल्ड एज होम चलाती है और जरूरतमंद बच्चों को शैक्षिक सामग्री उपलब्ध कराती है।
संस्था बुजुर्गों की सेवा के लिए प्रशिक्षित कार्यकर्ताओं की एक नई पीढ़ी तैयार कर रही है। पिछले एक वर्ष में, अभिनव समाज ने महात्मा गांधी कॉलेज ऑफ सोशल वर्क और वर्ल्ड पीस यूनिवर्सिटी के सहयोग से 950 से अधिक कार्यकर्ताओं को प्रशिक्षित किया है।
पाकिस्तान और बांग्लादेश के हिंदुओं की अस्थियों के लिए विशेष अपील
इस दौरान, अभिनव समाज के निदेशक बीरेंद्र कुमार सोनी ने पाकिस्तान और बांग्लादेश में रह रहे हिंदुओं की अस्थियों को लेकर एक विशेष अपीलकी।
“हम जानते हैं कि पाकिस्तान और बांग्लादेश में कई हिंदुओं की मृत्यु हो जाती है, लेकिन उनकी अस्थियां गंगा में विसर्जन के लिए इंतजार कर रही हैं। विभिन्न कारणों से वे अपनी अंतिम धार्मिक क्रियाएं नहीं कर पाते, जिससे उन्हें सनातन धर्म के अनुसार मोक्ष नहीं मिल पाता। अभिनव समाज ऐसे हिंदू भाइयों के लिए भी अस्थि विसर्जन का कार्यक्रम आयोजित करने के लिए तत्पर है।”
उन्होंने सरकार और आम नागरिकों से इस पुण्य कार्य के लिए अनुमति और समर्थन देने की अपील की।
“हम भारत सरकार से निवेदन करते हैं कि हमें यह कार्य करने की अनुमति दी जाए ताकि पाकिस्तान और बांग्लादेश के हिंदुओं की अस्थियों को भी सनातन धर्म के अनुसार गंगा में विसर्जित कर उन्हें मोक्ष प्रदान किया जा सके। यह न केवल एक धार्मिक कार्य है बल्कि मानवीय दृष्टिकोण से भी अत्यंत आवश्यक है। हम सभी से अनुरोध करते हैं कि इस पवित्र कार्य में हमारा सहयोग करें।”
समाज सेवा का एक प्रेरणादायक उदाहरण
अभिनव समाज संवेदनशीलता और कर्तव्यपरायणता के साथ समाज सेवा के क्षेत्र में मिसाल पेश कर रहा है। जी.के. गुप्ता और उनकी टीम ने यह साबित कर दिया है कि संवेदनशीलता और समर्पण के साथ किया गया कार्य न केवल जरूरतमंदों की मदद करता है, बल्कि समाज में सकारात्मक बदलाव भी लाता है।
संस्था का उद्देश्य आगे भी इसी तरह लावारिस आत्माओं को मोक्ष दिलाना और समाज के जरूरतमंदों की सेवा करना रहेगा। इस पहल की हर तरफ सराहना हो रही है और यह समाज के अन्य लोगों के लिए भी प्रेरणा बन रही है। 🙏